उत्तराखंड के नैनीताल में दो युवकों का हाई टैक ड्रामा तब देखने को मिला जब उन्होंने अपनी मांग को लेकर शरीर पर मट्टी का तेल छिड़क लिया । पुलिस ने तत्परता दिखाते हुए दोनों युवकों को हिरासत में ले लिया जिससे अनहोनी होने से बच गई ।
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नैनीताल नगर पालिका के आउट सोर्सिंग में पूर्व में कार्यरत दो वाहन चालक पवन और सौरभ ने दोबारा से आत्मदाह करने की धमकी दी ऐलान को अंजाम देने के लिए नगर पालिक परिसर के सामने पहुंचे । उन्होंने अपने शरीर पर मट्टी का तेल डालकर आत्मदाह करने का प्रयास किया। घटनास्थल पर मौजूद पुलिस और एल.आई.यू.की टीम ने बलपूर्वक दोनों युवकों को आत्मदाह करने से रोक लिया।
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नगर पालिकाध्यक्ष सचिन नेगी से दोनों युवकों के परिजन और नगर पालिका के वरिष्ठ कर्मचारी मामले के समाधान के लिए पहुँचे। सभी ने पालिकाध्यक्ष से युवको को काम पर रखने की बात कही। पालिकाध्यक्ष ने कहा कि दोनो युवक आउट सोर्सिंग से ठेकेदार द्वारा लगाए और निकाले गए है और नगर पालिका इस मामले में कोई हस्तक्षेप नही कर सकती। उन्होंने परिजनों को आश्वस्त किया कि वो अधिशाषी अभियंता से वार्ता कर किसी दूसरे काम मे लगाने की कोशिश करेंगे । आश्वासन से नाखुश आक्रोशित युवकों ने नगर पालिका के समक्ष मट्टी का तेल छिड़ककर आत्मदाह करने का प्रयास किया। जिसपर पुलिस और एल.आई.यू.की टीम ने दोनों को रोका दिया। घटना के बाद ही पुलिस दोनों युवकों को कोतवाली ले गई।
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मामले के अनुसार पवन और सौरभ को 22 दिसंबर 2020 को शिकायतों के आधार पर नौकरी से बाहर निकाला गया था। लेकिन नगर पालिकाध्यक्ष और अधिशाषी अभियंता ने दोनों परिवारो की समस्या 10 दिन के भीतर काम पर वापस रखने का अस्वासन दिया था। वाहन चालकों के अनुसार पालिकाध्यक्ष सचिन नेगी ने उन्हें इनके पूर्व कार्य में ना रखते हुए नगर पालिका के दूसरे काम मे रखने का अस्वासन दिया था। एक माह से ज्यादा बीत जाने के बाद भी उन्हें अबतक कार्य मे वापस नही रखा गया है, जिसपर उन्हीने 6 फरवरी को आत्मदाह की धमकी दी थी।
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वहीं पालिकाध्यक्ष सचिन नेगी ने बताया कि आउटसोर्सिंग से लगे कर्मचारियों को नौकरी से निकालने और रखने का अधिकार और जिम्मेदारी नगर पालिका की नहीं होती, लेकिन कोरोना काल और उनकी परेशानियों को देखते हुए उन्हें डोर टू डोर संस्था से बात कर किसी काम से जोड़ा जाएगा।
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