पौड़ी गढ़वाल के पैठानी के बड़ेथ गांव में मां के सामने ही 5 वर्ष के बच्चे को उठा ले गया गुलदार, 1 हफ्ते से गांव में ही टहल रहा था। लोग लगातार वीडियो बना रहे थे।

जनपद पौड़ी गढ़वाल के पैठाणी के बड़ेथ गांव में कल शाम मां के सामने ही तीन बहनों के इकलौते भाई 5 वर्षीय आर्यन रावत को घात लगा कर बैठा गुलदार उठा ले गया। मां के सामने ही इस घटना के बाद बाद पूरे गांव में हड़कंप मच गया । घटना कल शाम लगभग 8:00 बजे की है।
बड़ेथ गांव के ध्यान सिंह का पोता लाल सिंह का इकलौता पुत्र था 5 वर्षीय आर्यन रावत अपने मां के पीछे गौशाला में जा रहा था। तभी यह घटना घट गई ग्रामीणों के द्वारा शोर भी मचाया गया, लेकिन गांव में लाइट ना होने के कारण गुलदार अंधेरे का फायदा उठाकर बच्चे को जंगल में ले गया। रात भर ग्रामीणों के द्वारा टॉर्च से बच्चे की खोजबीन की जाती रही लेकिन धुंध और बिजली ना होने के कारण ग्रामीण भी जंगल में जाने की हिम्मत नहीं उठा पाए ।
वहीं घटना के बाद पुलिस और वन विभाग को सूचना मिलते ही वन विभाग की टीम और पुलिस के द्वारा सर्चिंग भी की गई, लेकिन देर रात तक बच्चे का पता नहीं लगा पाए वहीं घटना के बाद मां का रो रो कर बुरा हाल है।
सुबह के वक्त वन विभाग और पुलिस कर्मियों को जंगल में बच्चे का आधा खाया शव बरामद हुआ। इस घटना के बाद ग्रामीणों में भारी रोष है ग्रामीणों का आरोप है इससे पहले भी तीन अन्य घटनाएं क्षेत्र में हो चुकी हैं, कुछ दिनों पहले ही भालू के द्वारा एक महिला को गंभीर घायल कर दिया गया था । उसके कुछ दिनों पश्चात ही शादी से घर आ रहे एक वृद्ध को भी बालू के द्वारा हमला कर घायल करने की घटना हो चुकी थी।

वहीं इस घटना से पहले गुलदार पिछले 1 हफ्ते से पैठाणी क्षेत्र में सुबह शाम टहल रहा था। लेकिन उसके बावजूद भी वन विभाग के द्वारा गुलदार को पकड़ने के लिए कोई पिंजरा या कोई जतन नहीं किया गया। वही गमीणों का आरोप है कि बिजली न होने के कारण भी गुलदार के द्वारा अंधेरे का फायदा उठाया गया, क्षेत्र में यदि बिजली होती तो यह घटना नहीं घटती। वहीं क्षेत्रीय विधायक और मंत्री धन सिह रावत को रात को ही घटना की जानकारी मिल गई थी, जिसके बाद उन्होंने वन विभाग के अधिकारियों और जिला अधिकारी को फोन पर घटना की जानकारी ली गई, मंत्री धन सिंह रावत ने सख्त लहजे में वन विभाग की लापरवाही पर अधिकारियों को फटकार लगाई और तुरंत क्षेत्र अलग-अलग जगहों पर पिंजरा लगाने को निर्देश दिए मंत्री ने कहा है। और यदि आवश्यकता है तो गुलदार को मारने के लिए विभाग से स्वीकृति ली जाए, लेकिन जल्द से जल्द यदि गुलदार नहीं पकड़ा गया तो परिणाम गंभीर होंगे ।





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