देहरादून :(बड़ी खबर) DM की सूझ बूझ ने परिवार तोड़ने से बचाया

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70 वर्षीय बुजुर्गों से अपने तीन नौनिहालों वाले बेटे बहु को बेदखल न करने का डीएम ने किया आग्रह

भरणपोषण एक्ट में दायर किया था बुजुर्ग दंपति ने डीएम न्यायालय में केस

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परिवार टूटने से बचा गई डीएम की सूजबूझ; परिजनों को स्मरण कराए एक-दूसरे के कर्तव्य;

डीएम ने बुजुर्गों के प्रति पुत्रवधु के कर्तव्य; पुत्रवधु के प्रति बुजुर्गों की जिम्मेदारी का कराया स्मरण

साथ-साथ रहने का आग्रह ; निर्धन बेटा-बहु, बुजुर्ग दम्पति की आपस में सुलह; मनमुटाव दूर करने का प्रयास

नाराज होकर बुजुर्ग दम्पति ने जिला मजिस्टेªट कोर्ट में भरणपोषण अधिनियम में वाद कराया था पंजीकृत

देहरादून: जिलाधिकारी सविन बंसल के सम्मुख एक बुजुर्ग दम्पति ने अपने पुत्र एवं पुत्र वधु को बेदखली करने की फरियाद लगाई कि उनको अपने घर से बेदखल करने का डीएम से अनुरोध किया।

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जिलाधिकारी सविन बंसल ने 2 सुनवाई में ही कैस समझते हुए परिजनों के आपसी विवाद जो परिवार के विखण्डन का कारण बन रहा था को अपनी सूजबूझ से बुजुर्ग दंपत्ति को समझाते हुए अपने तीन नौनिहालों वाले बेटे बहु को बेदखल न करने का आग्रह किया। दोनों पक्षों को समझाया जिससे परिवार को टूटने से बचाने का प्रयास किया है। जहां जिलाधिकारी ने परिजनों को एक-दूसरे के कर्तव्य एवं जिम्मेदारियों का स्मरण कराया वहीं परिजनों को आपस में साथ रहने का अनुरोध किया। जिलाधिकारी ने परिजनों को साथ-साथ रहने का अनुरोध किया था निर्धन बेटा-बहु को बुजुर्गों को साथ रखने तथा बुजुर्ग दम्पति को इस अवस्था में पुत्र एवं उसके परिवार का साथ नही छोड़ने के प्रेरित किया। बजुर्ग दम्पति ने बेटे-बहुुुुु से नाराज होकर न्यायालय जिला मजिस्टेªट कोर्ट में भरणपोषण अधिनियम में वाद दर्ज कराया था।

  • 22 अगस्त 2025 को खुड़बुड़ा निवासी बुजुर्ग दम्पति जसंवत सिंह व उनकी पत्नी जिलाधिकारी कार्यालय कक्ष में उनसे मिलकर जिल पुत्र तथा पुत्रवधु द्वारा प्रताड़ित करने की शिकायत की तथा पुत्रवधु को बेदखल करने का अनुरोध किया।
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जिलाधिकारी सविन बसंल ने दोनो पक्षों को सुना तथा परिजनों का आपसी मनमुटाव दूर कराते हुए आपस में मिलजुलकर रहने की सलाह दी है। जिला प्रशासन की इसकी निरंतर माॅनिटिरिंग करेगा तथा दोनो पक्षों को आपस में मिलजुलकर रहने तथा एक- दूसरे के अधिकारों का अतिक्रमण नही करने का आग्रह किया गया। निर्धन पुत्र व पुत्रवधु एवं बुजुर्ग माता-पिता में सुलह से एक परिवार टूटने से बचने का प्रयास किया।

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बुजुर्ग दंपति के 4 पुत्र है जिनमें दो पुत्र अपने परिवार संग अलग रहते हैं, तथा एक दिव्यांग पुत्र तथा पुत्र बंसी जिसके विरुद्ध दंपति ने भरण पोषण अधिनियम में केस दर्ज किया था, उसके 3 नाबालिग बच्चे हैं, जिनमें 2 बालिका तथा 1 बालक है, बेटे का कपड़े का अल्प व्यवसाय है तथा आर्थिक स्थिति ठीक नहीं है। जिलाधिकारी ने बुजुर्ग दंपति से आग्रह किया कि अपने बेटे बहु तथा नाबालिग नौनिहालों को अपनी घर कुटिया से ना निकाले साथ ही बेटे बहु को बुजुर्गों के प्रति उनके कर्तव्य एवं जिम्मेदारियां भी स्मरण कराई।

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